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2 दिन 1000 से ज्यादा हत्याएं, हर तरफ शव ही शव... इस मुस्लिम देश में क्यों शुरू हुआ खूनी खेल?

हिंदी न्यूज़न्यूज़विश्व2 दिन 1000 से ज्यादा हत्याएं, हर तरफ शव ही शव... इस मुस्लिम देश में क्यों शुरू हुआ खूनी खेल?

Syria Revenge Killing: लड़ाई उस समय शुरू हुई, जब सुरक्षाबलों ने जबलेह के पास एक व्यक्ति को हिरासत में लेने का प्रयास किया, लेकिन बशर असद के लोगों ने उन पर घात लगाकर हमला कर दिया.

By : एबीपी लाइव डेस्क | Edited By: निधि विनोदिया | Updated at : 09 Mar 2025 10:27 AM (IST)

Syria Revenge Killing: सीरिया में बीते दो दिनों से जारी हिंसा में हजार से भी ज्यादा लोग मारे जा चुके हैं. गुरुवार (6 मार्च, 2025) को सरकारी बलों और राष्ट्रपति बशर असद के समर्थकों के बीच यह हिंसा भड़की. ये हिंसा देश में बीते 14 साल से चल रहे संघर्ष में अब तक की सबसे घातक घटनाओं में से एक है. 

एसोसिएट प्रेस (एपी) की रिपोर्ट के मुताबिक, युद्ध निगरानी समूह ने इस बात की जानकारी दी कि इस हिंसा में 1000 से ज्यादा लोग मारे जा चुके हैं. वहीं ब्रिटेन स्थित सीरियन ऑब्जर्वेटरी फॉर ह्यूमन राइट्स ने बताया कि मरने वालों में 745 नागरिक शामिल हैं, जिनमें से ज्यादातर नज़दीक से मारे गए, साथ ही 125 सरकारी सुरक्षाकर्मी और असद से जुड़े 148 आतंकवादी भी शामिल हैं.

घात लगाकर किया था हमाल

ऑब्जर्वेटरी के अनुसार, गुरुवार को उस समय लड़ाई शुरू हुई, जब सुरक्षाबलों ने जबलेह के पास एक व्यक्ति को हिरासत में लेने का प्रयास किया, लेकिन बशर असद के लोगों ने उन पर घात लगाकर हमला कर दिया. खास बात ये है कि लताकिया प्रांत के बड़े हिस्से में बिजली और पीने का पानी भी रोक दी गई है.

अलावी समुदायों को बनाया निशाना 

इसके बाद शुक्रवार (7 मार्च, 2025) को बदला लेने के लिए हमले और बढ़ गए. सरकार के प्रति वफादार सुन्नी मुसलमान बंदूकधारियों ने असद के अल्पसंख्यक संप्रदाय अलावी को निशाना बनाया. यह हिंसा हयात तहरीर अल-शाम के लिए एक बड़ी चुनौती है. वह समूह, जिसने असद को उखाड़ फेंकने में मदद की थी.

गांवों में रहने वालों की भी हत्या 

निवासियों ने अलावी गांवों में भी हत्याओं के बारे में बताया गया. बनियास के 57 वर्षीय अली शेहा ने कहा, "सड़कों पर लाशें पड़ी थीं. बंदूकधारी 100 मीटर से भी कम दूरी पर थे, घरों और निवासियों पर गोलीबारी कर रहे थे. हमलावरों ने लोगों की हत्या करने से पहले उनके संप्रदाय की पुष्टि करने के लिए उनके पहचान पत्र की जांच भी की.

फ्रांस ने की निंदा

सीरिया की सरकार ने कहा कि उसने असद के वफादारों की ओर से कब्जा किए गए अधिकांश क्षेत्रों को वापस पा लिया है. वहीं फ्रांस ने हिंसा की निंदा की. विदेश मंत्रालय ने कहा, "पेरिस धार्मिक आधार पर नागरिकों के खिलाफ किए गए अत्याचारों की कड़े शब्दों में निंदा करता है." इस बीच, हज़ारों अलावी भाग गए हैं, जिनमें से कई रूस के हमीमिम एयरबेस में शरण लिए हुए हैं. लेबनानी विधायक हैदर नासर ने कहा, "अंतरराष्ट्रीय समुदाय को अलावी लोगों की रक्षा करनी चाहिए, जो अपने देश के प्रति वफ़ादार सीरियाई नागरिक हैं."

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Published at : 09 Mar 2025 10:27 AM (IST)

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डॉ ख्याति पुरोहित

डॉ ख्याति पुरोहितस्वतंत्र पत्रकार व अध्यापिका

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