हिंदी न्यूज़न्यूज़विश्वPakistan Bilawal Bhutto: बिलावल भुट्टो ने क्यों की पाकिस्तान में सैन्य तख्तापलट की बात, बयान से बवाल मचा
बिलावल भुट्टो-जरदारी ने ऑक्सफोर्ड यूनियन में अपने भाषण के दौरान पाकिस्तान में लोकतंत्र, न्याय और स्वतंत्र पत्रकारिता की अहमियत पर जोर दिया. उन्होंने पाकिस्तान के परमाणु कार्यक्रम का बचाव भी किया
By : एबीपी लाइव | Edited By: Sourav kumar | Updated at : 21 Feb 2025 01:34 PM (IST)
Pakistan Bilawal Bhutto: पाकिस्तान पीपुल्स पार्टी (PPP) के अध्यक्ष बिलावल भुट्टो-जरदारी ने ऑक्सफोर्ड यूनियन में वार्षिक बेनजीर भुट्टो मेमोरियल के कार्यक्रम के दौरान पाकिस्तान के लोकतांत्रिक भविष्य और मानवाधिकारों की रक्षा पर जोर दिया. उन्होंने पाकिस्तान को सैन्य तख्तापलट से मुक्त रखने की अपील करते हुए कहा कि देश एक और सैन्य तख्तापलट का हकदार नहीं है.
बिलावल ने अपनी स्वर्गीय मां और पाकिस्तान की पूर्व प्रधानमंत्री बेनजीर भुट्टो को याद करते हुए कहा कि उन्होंने जीवनभर लोकतंत्र और समानता के लिए संघर्ष किया. बेनजीर ने 1977 में ऑक्सफोर्ड यूनियन की पहली महिला एशियाई अध्यक्ष बनकर इतिहास रचा था. उन्होंने लोकतंत्र को सबसे अच्छा बदला माना.
लोकतंत्र और न्याय की रक्षा
बिलावल ने पाकिस्तान के लोकतांत्रिक शासन, स्वतंत्र न्यायपालिका, और स्वतंत्र पत्रकारिता की अहमियत पर जोर दिया. उन्होंने कहा कि पाकिस्तान के लोग बेहतर भविष्य की मांग कर रहे हैं और यह सुनिश्चित करना जरूरी है कि उनकी मांगों का सम्मान हो.
परमाणु कार्यक्रम का बचाव
बिलावल ने अपने भाषण के दौरान पाकिस्तान के परमाणु कार्यक्रम का बचाव किया और पश्चिमी देशों पर दोहरे मानकों का आरोप लगाया. उन्होंने कहा कि पाकिस्तान का परमाणु कार्यक्रम आक्रामक नहीं बल्कि आत्मरक्षा के लिए है. उन्होंने कहा, "पाकिस्तान का परमाणु सिद्धांत किसी आक्रामक मकसद के लिए नहीं है और इसे अंतरराष्ट्रीय कानूनों का पूर्ण पालन करता है."
मानवाधिकार और लोकतांत्रिक चुनौतियों पर चर्चा
बिलावल ने पाकिस्तान में मानवाधिकारों और लोकतांत्रिक चुनौतियों पर भी चर्चा की. उन्होंने माना कि स्थापित लोकतंत्रों को भी समस्याओं का सामना करना पड़ता है और पीपीपी ने विवादास्पद कानूनों के खिलाफ जहां आवश्यक हो विरोध जताया है. उन्होंने 26वें संशोधन और पेक्का (PECA) कानूनों पर भी अपनी राय रखी.
ऑक्सफोर्ड यूनियन में संबोधन
बिलावल भुट्टो-जरदारी का ऑक्सफोर्ड यूनियन में संबोधन पाकिस्तान के लोकतांत्रिक भविष्य और मानवाधिकारों की सुरक्षा के महत्व पर केंद्रित था. उन्होंने पश्चिमी दोहरे मानकों और परमाणु कार्यक्रम के विषय पर भी अपनी राय रखी. उनका यह भाषण बेनजीर भुट्टो की विरासत को याद करने और लोकतंत्र की दिशा में देश को आगे बढ़ाने की प्रतिबद्धता को दर्शाता है.
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Published at : 21 Feb 2025 01:34 PM (IST)
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रुमान हाशमी, वरिष्ठ पत्रकार
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